बेसिक शिक्षा विभाग :- समस्त खंड शिक्षा अधिकारियों को किया गया निर्देशित-अधिकारी कर्मचारी निश्चित वेशभूषा में पहुंचे कार्यालय/विद्यालय, आप भी जाने क्या है निर्धारित वेशभूषा
Month: September 2020
अनुदेशकों को 100 छात्र से कम होने पर हटाने पर रोक, 7000 रुपये मानदेय देने पर तीन हफ्ते में जवाब तलब
उरुआ, गोरखपुर में नियुक्त अनुदेशकों को सौ छात्र से कम संख्या होने के कारण हटाने के आदेश पर रोक लगा दी है। सातों याची अनुदेशकों को 31 जनवरी 2013 के शासनादेश के तहत कार्य करने देने व मानदेय का भुगतान करने का निर्देश दिया है। अनुदेशकों को मानदेय चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के न्यूनतम वेतन से कम सात हजार रुपये देने पर राज्य सरकार से तीन हफ्ते में जवाब मांगा है।
यह आदेश न्यायमूíत पंकज भाटिया ने प्रभु शंकर व अन्य की याचिका पर दिया है। याची का कहना है कि संविधान के अनुच्छेद 21-ए के तहत केंद्र सरकार ने अनिवार्य शिक्षा कानून बनाया। शिक्षकों की जरूरत पूरी करने के लिए मानदेय पर 11 माह के लिए नवीनीकृत करने की शर्त के साथ अनुदेशकों की नियुक्ति की व्यवस्था की गयी। कला, स्वास्थ्य, शारीरिक कार्य शिक्षा देने के लिए 41307 अनुदेशकों के पद सृजित किये गये। इन्हें भरने के लिए विज्ञापन निकाला गया।
याचियों की 2013 में नियुक्ति हुई। फिर समय-समय पर कार्यकाल बढ़ाया जाता रहा। मई 2019 के बाद याचियों का नवीनीकरण करने से यह कहते हुए इन्कार कर दिया गया कि जरूरत नहीं है। छात्र संख्या 100 से कम हो गयी है। इसे चुनौती दी गयी। कोर्ट ने जिलाधिकारी को नवीनीकरण पर निर्णय लेने पर विचार का निर्देश दिया। जिलाधिकारी ने निरस्त कर दिया तो यह याचिका दाखिल की गयी है।
माध्यमिक शिक्षा : नियुक्ति के लिए अगले सप्ताह मांगे जाएंगे आवेदन
वर्ष के अंत तक स्कूलों में पहुंच जाएंगे टैबलेट, बच्चों की बायोमीट्रिक हाजिरी ली जा सकेगी
प्रदेश के सभी सरकारी प्राइमरी स्कूलों में टेबलेट इस वर्ष के अंत तक पहुंच जाएंगे। प्रदेश के 1.59 स्कूलों के प्रधानाचार्यों को एक-एक टेबलेट दिया जाना है। इसकी खरीद की प्रक्रिया शुरू हो गई है। बेसिक शिक्षा विभाग को 1,64, 323 टैबलेट खरीदने हैं और इसमें 150 करोड़ रुपए का खर्च आएगा। वर्ष के अंत तक टैबलेट स्कूलों तक पहुंच जाएंगे। टैबलेट के लिए कम्पनियां 29 सितम्बर तक आवेदन कर सकेंगी। कम्पनियों को ब्लॉक स्तर पर टेबलेट की सप्लाई देनी होगी। इस टेबलेट में बायोमीट्रिक हाजिरी की व्यवस्था है। इसके जरिए प्रधानाचार्यों व शिक्षकों की जवाबदेही तय की जाएगी। पिछले सत्र में भी टेबलेट की योजना आई थी लेकिन इसके टेण्डर में ज्यादा कम्पनियां नहीं आईं थीं। इक्का-दुकक््का कम्पनियों के चलते खरीद प्रक्रिया पूरी नहीं की गई। इस बार फिर से टेबलेट प्रधानचार्यों को देने की तैयारी है। प्रधानाध्यापकों के अलावा इसे 4400 अकादमिक रिसोर्स पर्सन और 880 ब्लॉक रिसोर्स सेण्टर को भी टेबलेट दिया जाएगा। इसके साथ डाटा प्लान भी दिया जाएगा।
बच्चों की बायोमीट्रिक हाजिरी ली जा सकेगी पिछले सत्र में राज्य सरकार ऐसे टैबलेट की खरीद करने जा रही थी जिससे फोटो के माध्यम से हाजिरी ली जा सके | लेकिन सेल्फी के माध्यम से हाजिरी का खूब विरोध हुआ जिसका तोड़ निकालते हुए सरकार ने बायोमीट्रिक हाजिरी वाले की व्यवस्था की है। इसके माध्यम से बच्चों की हाजिरी भी सुनिश्चित करने की योजना है|
कोरोना काल मे 9 से 12 तक के स्कूल 21 सितम्बर से नहीं खुलेंगे, 15 को समीक्षा के बाद होगा अंतिम निर्णय
कोरोना काल मे 9 से 12 तक के स्कूल 21 सितम्बर से नहीं खुलेंगे, 15 को समीक्षा के बाद होगा अंतिम निर्णय – School Open in COVID19
COVID19 : प्रदेश में लगातार बढ़ते कोरोना संक्रमण के मद्देनजर 21 सितंबर से माध्यमिक विद्यालयों को न खोले जाने का निर्णय लिया गया है। माध्यमिक शिक्षा विभाग ने उच्च स्तर पर इसकी सैद्धांतिक सहमति बन गई है। सितंबर के बाद संक्रमण की स्थिति का जायजा लेने के बाद ही प्रदेश में स्कूल खोलने का निर्णय किया जाएगा।
केंद्र सरकार की अनलॉक-4 की गाइडलाइन के आधार पर प्रदेश सरकार ने भी अपनी गाइडलाइन जारी की है। इसमें 21 सितंबर से कंटेनमेंट जोन से बाहर के स्कूलों के कक्षा 9 से 12 तक के विद्यार्थियों को शिक्षकों से मार्गदर्शन के लिए बुलाने की अनुमति दी गई थी। लेकिन इसके लिए विद्यार्थियों के माता-पिता की लिखित अनुमति को अनिवार्य किया गया था। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय को भी इसके लिए मानक व प्रक्रिया तय करने के निर्देश दिए गए थे। लेकिन अब माध्यमिक शिक्षा विभाग के अधिकारी इस बढ़ते संक्रमण को देखते हुए कोई जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं।उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने कहा कि हम 15 सितंबर के बाद कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा करेंगे। यदि संक्रमण फैलने की स्थिति यूं ही बनी रही तो स्कूल-कॉलेज नहीं खोले जाएंगे।