परिषदीय विद्यालयों में टेबलेट वितरण हेतु कार्यवाही तेज़, निर्धारित विद्यालयों में डेमो/परीक्षण हेतु महानिदेशक स्कूल शिक्षा का आदेश जारी
अंतर्जनपदीय स्थानांतरण 68500 के अंतर्गत नियुक्त शिक्षकों को किया गया बाहर, लिंक पर क्लिक करके चेक करें अपने आवेदन की स्थिति
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NISHTHA TRAINING : निष्ठा प्रशिक्षण के माड्यूल 16, 17 और 18 की लिंक एक साथ, क्लिक कर जॉइन करें दीक्षा एप पर प्रशिक्षण, 15 जनवरी है अंतिम तिथि
निष्ठा प्रशिक्षण के माड्यूल 16, 17 और 18 की लिंक एक साथ, क्लिक कर जॉइन करें दीक्षा एप पर प्रशिक्षण, 15 जनवरी है अंतिम तिथि
कोर्स का लिंक 👇 नीचे मॉड्यूलवार दिए गए हैं, क्लिक करके देखें।
निष्ठा (दीक्षा) प्रशिक्षण
➡️ दिनांक 01 जनवरी से 15 जनवरी 2021
कोर्स का लिंक 👇
👉 मॉड्यूल 16
01 से 15 जनवरी 2021 तक
UP_मापदंड-पूर्व-व्यावसायिक शिक्षा (उत्तर प्रदेश)
https://diksha.gov.in/explore-course/course/do_31317811832992563211
गतिविधि और प्रश्नोत्तरी का लिंक👇👇👇👇
https://youtu.be/XklChmqvieI
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👉 मॉड्यूल 17
01 से 15 जनवरी 2021 तकUP_कोविड-19 परिदृश्य: विद्यालयी शिक्षा में चुनौतियों का समाधान (उत्तर प्रदेश)
https://diksha.gov.in/explore-course/course/do_313178122174586880122
गतिविधि और प्रश्नोत्तरी का लिंक👇👇👇👇
https://youtu.be/Up3sBGxGERI
👉 मॉड्यूल 18
01 से 15 जनवरी 2021 तक
UP_अधिकारों की समझ, यौन शोषण और पाॅक्सो अधिनियम 2012 (उत्तर प्रदेश)
https://diksha.gov.in/explore-course/course/do_31317812044958924812
गतिविधि और प्रश्नोत्तरी का लिंक👇👇👇👇
https://youtu.be/gT1hY1S98xQ
*सभी प्रशिक्षण निर्धारित समयावधि में पूर्ण करें*
उपर्युक्त तीनो कोर्स/प्रशिक्षण को आप सीधे लिंक के माध्यम से भी जाकर कर सकते है या दीक्षा पोर्टल के सर्च बार मे कोर्स का नाम डालें और सर्च करने के बाद कोर्स आ जाएगा, उस कोर्स पर क्लिक करके प्रशिक्षण शुरू कर सकते है।
UPTET 2020 APPLICATION: शिक्षक पात्रता परीक्षा यूपीटेट के आवेदन में होगा बदलाव, यह हो सकते हैं बदलाव
उत्तर प्रदेश शिक्षक पात्रता परीक्षा (UPTET) 2020 के लिए आवेदन प्रक्रिया अब नए साला में ही शुरू होने के आसार हैं। वजह, शासन ने अभी तक प्रस्ताव पर मुहर नहीं लगाई है। सोमवार को परीक्षा संस्था व एनआइसी की बैठक है, इसमें आनलाइन आवेदन लेने की समय सारिणी तय हो सकती है। देरी से निर्णय का असर परीक्षा तारीख पर पड़ सकता है। पहले परीक्षा फरवरी के अंत में कराने की तैयारी थी। UPTET 2020 कराने पर शासन पहले ही सहमति दे चुका है। परीक्षा नियामक प्राधिकारी सचिव से इसका विस्तृत प्रस्ताव मांगा गया था। परीक्षा संस्था ने एक सप्ताह पहले ही प्रस्ताव भेज दिया, जिसमें 28 दिसंबर से 28 जनवरी 2021 तक आनलाइन आवेदन लेने का कार्यक्रम तय किया था, साथ ही परीक्षा की तारीख 28 फरवरी तय हुई थी। शासन ने इसका आदेश अब तक जारी नहीं किया है, बल्कि 28 दिसंबर को बैठक बुलाई गई है। इसमें एनआइसी से समय सारिणी को लेकर मंथन होगा और उसके बाद शासनादेश जारी किया जाएगा। ऐसे में इस परीक्षा के लिए आनलाइन आवेदन अब नए साल में ही लिए जाने के संकेत हैं। प्रस्ताव में जिलों में स्थित विश्वविद्यालय व महाविद्यालय को भी जिलाधिकारी की सहमति से परीक्षा केंद्र बनाने तथा प्रमाणपत्र की वैधता आजीवन करने सहित कई बदलाव भी किए गए हैं।
प्राथमिक विद्यालय की शिक्षिका को परेशान कर रहा शोहदा, नहीं हो रही कार्रवाई
गोरखपुर। चौरीचौरा में सरदारनगर ब्लॉक के एक प्राथमिक स्कूल में तैनात शिक्षिका को गांव का रहने वाला शोहदा परेशान कर रहा है। पीड़िता ने कई बार पुलिस कंट्रोल रूम व स्थानीय पुलिस से शिकायत की लेकिन कार्रवाई नहीं हुई। शिक्षिका की जानकारी देने पर बीएसए ने एसएसपी को पत्र लिख मामले की जानकारी दी है।
जानकारी के अनुसार, एसएसपी को पत्र लिखकर बीएसए ने बताया है कि सरदानगर क्षेत्र के प्राथमिक स्कूल में तैनात सहायक अध्यापिका को गांव का रहने वाला शंभू सिंह परेशान करता है। आते-जाते अभद्रता करता है। सहायक अध्यापिका से वह रुपये की मांग करता है। जिसकी शिकायत उसने ग्राम प्रधान और चौरीचौरा थाना प्रभारी से की। मदद नहीं मिलने पर डायल 112 पर फोन किया, लेकिन आरोपित के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई। उसके डर से अध्यापिका स्कूल जाने से डर रही है। पुलिस के साथ डायल 112 पर शिक्षिका ने कब-कब सूचना दी है इसकी भी अधिकारियों को बताया गया है।
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यूपी पंचायत चुनाव : 58 हजार से अधिक ग्राम पंचायतों में खत्म हुआ प्रधानों का कार्यकाल, जानें क्या है नई व्यवस्था
यूपी पंचायत चुनाव : 58 हजार से अधिक ग्राम पंचायतों में खत्म हुआ प्रधानों का कार्यकाल, जानें क्या है नई व्यवस्था
उत्तर प्रदेश में शुक्रवार की आधी रात के बाद 58 हजार ग्राम पंचायतों के प्रधानों का कार्यकाल खत्म हो जाएगा। गौतमबुद्ध नगर जिले के 88 और गोंडा के दस गांवों में प्रधान अपने पदों पर फिलहाल बने रहेंगे। प्रदेश के पंचायतीराज विभाग ने प्रधानों का कार्यकाल खत्म हो जाने के बाद राज्य में पंचायत होने तक नई व्यवस्था लागू करने की तैयारी कर ली है। अपर मुख्य सचिव पंचायतीराज मनोज कुमार सिंह ने बताया कि चुनाव होने तक गांवों में प्रशासक के रूप में सहायक विकास अधिकारी एडीओ की तैनाती की जाएगी। इसके लिए जिला अधिकारियों को जारी कर दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि आधी रात के बाद प्रधानों से डोंगल वापस लेकर ई-ग्राम स्वराज पोर्टल पर डिजिटल सिग्नेचर सर्टिफिकेट अनरजिस्टर्ड कर दिए जाएंगे।
22 जनवरी तक मतदाताओं की सूची तैयार करने का अल्टीमेटमयूपी में 31 मार्च तक पंचायत चुनाव कराने की तैयारी है। इस बार यूपी में पंचायत के चारों पदों के लिए एक साथ चुनाव कराए जाने हैं। जिसमें क्षेत्र पंचायत सदस्य, जिला पंचायत सदस्य, ग्राम प्रधान और ग्राम पंचायत सदस्य शामिल हैं। यूपी में कुल 58758 ग्राम पंचायतें, 821 क्षेत्र पंचायत और 75 जिला पंचायत हैं। चुनाव आयोग ने इसको लेकर 22 जनवरी तक मतदाताओं की सूची हर हाल में तैयार कर लेने का अल्टीमेटम भी अधिकारियों को दे दिया है।
2015 में एक लाख 80 हजार मतदान स्थल पर बने थे मतदान स्थल2015 के यूपी पंचायत चुनाव में चुनाव आयोग के निर्देश पर एक लाख 80 हजार मतदान स्थल बनाए गए थे। एक मतदान स्थल पर लगभग एक हजार मतदाता की संख्या रखी गई थी। इस बार यह संख्या घटा दी गई है। अबकी से यह संख्या घटकर 800 ही रह जाएगी। मतदान केन्द्रों की संख्या करीब दो लाख है। चुनाव आयोग के मुताबिक यूपी में मतदान स्थलों की संख्या के ढाई गुना के हिसाब से लगभग पांच लाख से ऊपर मतपेटियों की जरूरत पड़ सकती है।
पुलिस ने भी शुरू की तैयारी, गांव-गांव में नेटवर्क बनाने पर जोर एडीजी प्रयागराज जोन प्रेमप्रकाश ने मातहतों को निर्देश दिए कि जल्द ही पंचायत चुनाव होने वाले हैं। पेशबंदी को लेकर विवाद उत्पन्न होने की संभावना रहती है। इस पर नजर रखने के लिए गांवों में सूचनातंत्र को मजबूत रखें। इलाके हिस्ट्रीशीटरों पर कड़ी नजर रखी जाए। इनामी अपराधियों की धरपकड़ में तेजी लाएं। अवैध तरीके से बिक रहे शराब व गांजे पर रोक लगाते हुए ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। लापरवाही करने वाले जिम्मेदारों को पुलिस लाइन में संबद्ध किया जाए। वहीं आईजी जोन लखनऊ लक्ष्मी सिंह ने पुलिस लाइन सभागार में पुलिस के अधिकारियों के साथ कानून और व्यवस्था को लेकर समीक्षा बैठक की। यहां उन्होंने अपराध व अपराधियों पर नकेल कसने, महिला अपराधों पर सख्ती से निपटने को लेकर समीक्षा की। आईजी ने यहां पर पुलिस अधिकारियों को विभिन्न प्रकार के दिशा निर्देश भी जारी किए। वहीं पंचायत चुनाव को लेकर भी मदद अफसरों से कहा कि गांव-गांव नेटवर्क तैयार करें। पंचायत चुनावों को लेकर तैयारियों के विषय में आईजी ने बताया कि पुलिस के अधिकारियों को गांव-गांव में आमद बढ़ाने लोगों से संवाद स्थापित करने के साथ ही गांव में नेटवर्क विकसित करने के लिए भी कहा गया है। जिससे पंचायत चुनावों पर पूरा खाका तैयार किया जाए। शांतिपूर्ण चुनाव कराना प्राथमिकता है।
अंतर्जनपदीय ट्रांसफ़र 2019-20 से जुड़ा 24 दिसम्बर को जारी लेटस्ट आदेश देखें 28 दिसम्बर को लॉक होगा डाटा
बेसिक शिक्षा विभाग में अब एक नाम से जाने जाएंगे उच्च प्राथमिक विद्यालय: महानिदेशक
बेसिक शिक्षा विभाग में अब एक नाम से जाने जाएंगे उच्च प्राथमिक विद्यालय
सिद्धार्थनगर: बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित कक्षा छह से आठ तक के विद्यालयों के नाम आने वाले दिनों में बदल दिए जाएंगे। अब विद्यालय के नामों में एकरूपता रहेगी। अभी तक जूनियर विद्यालयों के लिए अलग-अलग नाम लिखे जाते थे। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। विभाग के महानिदेशक ने इसके गंभीरता से लेते हुए नामों में एकरूपता लाने का निर्णय लिया गया है। सभी जूनियर विद्यालयों के नाम अब उच्च प्राथमिक विद्यालय लिखा जाएगा। महानिदेशक का पत्र मिलते ही विभाग ने आगे की कार्रवाई भी शुरू कर दी है।
अभी तक बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित जूनियर विद्यालयों के लिए पूर्व माध्यमिक विद्यालय, जूनियर हाई स्कूल, बेसिक विद्यालय जैसे कई नामों का प्रयोग किया जाता था पर अब एक विभाग-एक नाम को अपनाते हुए एक ही नाम उच्च प्राथमिक विद्यालय के नाम से जाना जाएगा। इसके लिए स्कूल शिक्षा के महानिदेशक विजय किरण आनंद ने सभी बेसिक शिक्षा अधिकारियों को पत्र भेजकर सुधार कराने का निर्देश दिया है। दरअसल बेसिक शिक्षा परिषद ने कक्षा 6 से 8 तक संचालित विद्यालयों पर लिखे नामों में एकरूपता नहीं दिखाई पड़ती है कहीं शिक्षक पूर्व माध्यमिक विद्यालय लिखते हैं तो कहीं जूनियर हाई स्कूल लिखा जाता था। यही भिन्नता विद्यालयों के यू डायस के साथ अंकित नामों में भी है। विभाग ने इस विसंगति को गंभीरता से लेते हुए एकरूपता के लिए निर्देश जारी किया है। यदि किसी प्राथमिक व जूनियर विद्यालय ़का संविलयन किया गया है तो उसके नाम भी उच्च प्राथमिक रहेगा। अब शीघ्र ही विद्यालयों की दीवालों पर लिखे नाम बदले हुए नजर आएंगे। बीएसए राजेंद्र सिंह ने बताया कि विभागीय निर्देश का अनुपालन कराने के लिए समस्त खंड शिक्षा अधिकारियों को निर्देशित कर दिया गया है।