प्रयागराज: परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में 68500 शिक्षक भर्ती के तहत चयनित तकरीबन 100 शिक्षकों का साडे 5 महीने का एरियर सवा साल से फंसा हुआ है 10 सितंबर 2018 में नियुक्त अध्यापकों का वेतन बेसिक शिक्षा विभाग में ऑनलाइन सत्यापन के बाद मार्च 2019 में वेतन जारी कर दिया था लेकिन केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा सीटीईटी के प्रमाण पत्र का सत्यापन सीबीएससी की ओर से ऑफलाइन नहीं मिलने के कारण प्रत्येक शिक्षक का ₹200000 से अधिक का एरियर भुगतान नहीं हो पा रहा।
पीएम मोदी ने शुक्रवार को बताया कि नई शिक्षा नीति के तहत स्कूली शिक्षा व्यवस्था में क्यों 10+2 सिस्टम को खत्म कर 5+3+3+4 सिस्टम को लाया जा रहा है। मानव संसाधन विकास मंत्रालय और यूजीसी की ओर से नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर आयोजित सम्मेलन में अपने संबोधन के दौरान उन्होंने कहा कि बदलते समय के साथ एक नई विश्व व्यवस्था खड़ी हो गई है। एक नया ग्लोबल स्टैंडर्ड भी तय हो रहा है। बदलते ग्लोबल स्टैंडर्ड के हिसाब से भारत के एजुकेशन सिस्टम में बदलाव करने भी बहुत जरूरी है।
स्कूल से 10+2 को बदलकर 5+3+3+4 कर देना इसी दिशा में उठाया गया कदम है। हमें अपने स्टूडेंट्स को ग्लोबल सिटीजन बनाना है। हमें इस बात का भी ध्यान रखना है कि वह ग्लोबल स्टूडेंट्स बनने के साथ-साथ अपनी जड़ों से भी जुड़े रहें। नयी शिक्षा नीति में ऐसा प्रावधान किया गया है कि छात्रों को ग्लोबल सिटीजन बनाने के साथ साथ उनको अपने जड़ों से भी जोड़कर रख जाएगा।
गौरतलब है कि नई शिक्षा नीति में 10+2 के फार्मेट को पूरी तरह खत्म कर दिया गया है। अभी तक हमारे देश में स्कूली पाठ्यक्रम 10+2 के हिसाब से चलता है लेकिन अब ये 5+ 3+ 3+ 4 के हिसाब से होगा। इसका मतलब है कि प्राइमरी से दूसरी कक्षा तक एक हिस्सा, फिर तीसरी से पांचवीं तक दूसरा हिस्सा, छठी से आठवीं तक तीसरा हिस्सा और नौंवी से 12 तक आखिरी हिस्सा होगा। यहां समझें कि क्या है 5+3+3+4 फार्मेट का सिस्टम-
नई शिक्षा नीति- स्कूल शिक्षा का नया ढांचा, 5+3+3+4 फार्मूला
फाउंडेशन स्टेज
पहले तीन साल बच्चे आंगनबाड़ी में प्री-स्कूलिंग शिक्षा लेंगे। फिर अगले दो साल कक्षा एक एवं दो में बच्चे स्कूल में पढ़ेंगे। इन पांच सालों की पढ़ाई के लिए एक नया पाठ्यक्रम तैयार होगा। मोटे तौर पर एक्टिविटी आधारित शिक्षण पर ध्यान रहेगा। इसमें तीन से आठ साल तक की आयु के बच्चे कवर होंगे। इस प्रकार पढ़ाई के पहले पांच साल का चरण पूरा होगा।
प्रीप्रेटरी स्टेज
इस चरण में कक्षा तीन से पांच तक की पढ़ाई होगी। इस दौरान प्रयोगों के जरिए बच्चों को विज्ञान, गणित, कला आदि की पढ़ाई कराई जाएगी। आठ से 11 साल तक की उम्र के बच्चों को इसमें कवर किया जाएगा।
मिडिल स्टेज
इसमें कक्षा 6-8 की कक्षाओं की पढ़ाई होगी तथा 11-14 साल की उम्र के बच्चों को कवर किया जाएगा। इन कक्षाओं में विषय आधारित पाठ्यक्रम पढ़ाया जाएगा। कक्षा छह से ही कौशल विकास कोर्स भी शुरू हो जाएंगे।
सेकेंडरी स्टेज
कक्षा नौ से 12 की पढ़ाई दो चरणों में होगी जिसमें विषयों का गहन अध्ययन कराया जाएगा। विषयों को चुनने की आजादी भी होगी। पहले यह थी व्यवस्था
पहले सरकारी स्कूलों में प्री-स्कूलिंग नहीं थी। कक्षा एक से 10 तक सामान्य पढ़ाई होती थी। कक्षा 11 से विषय चुन सकते थे।
नई शिक्षा नीति पर पीएम मोदी के भाषण की अन्य अहम बातें
पीएम ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 21वीं सदी के भारत की और नए भारत की नींव तैयार करने वाली है। प्रधानमंत्री ने इस बात पर संतुष्टि जताई की देश के किसी भी क्षेत्र या वर्ग से भेदभाव संबंधी कोई शिकायत नहीं आई। उन्होंने कहा, ”हर देश अपनी शिक्षा व्यवस्था को अपने राष्ट्रीय मूल्यों के साथ जोड़ते हुए, अपने राष्ट्रीय ध्येय के अनुसार सुधार करते हुए चलता है। मकसद ये होता है कि देश की शिक्षा प्रणाली अपनी वर्तमान औऱ आने वाली पीढ़ियों का भविष्य तैयार रखे और तैयार करे।”
आजमगढ़ : पैनकार्ड फर्जीवाड़े में दो शिक्षकों की सेवा समाप्त, एसआईटी की जांच में 28 शिक्षक हुए थे चिन्हितआजमगढ़ : पैनकार्ड फर्जीवाड़े में दो शिक्षकों की सेवा समाप्त, एसआईटी की जांच में 28 शिक्षक हुए थे चिन्हित, पांच शिक्षकों की 27 जुलाई को हो चुकी है बर्खास्तगी।
आजमगढ़ : एक पैन कार्ड का इस्तेमाल अलग-अलग जनपदों । में दो-दो शिक्षकों द्वारा अलग अलग खाता नंबरों के साथ प्रयोग किए जाने का प्रकरण सामने आया था। एसआईटी व एसटीएफ की जांच में इस फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ था। जिसमें जिले के ऐसे 28 शिक्षक चिन्हित हुए थे। जिसमें पांच शिक्षकों के फर्जी होने की पुष्टि होने पर पहले ही बर्खास्तगी हो चुकी है वहीं दो और फर्जी शिक्षक चिन्हित होने पर प्रभारी बीएसए ने मंगलवार को नियुक्ति तिथि से इनकी सेवा समाप्त कर दी और खंड शिक्षाधिकारियों को रिकवरी का आदेश भी जारी कर दिया।
बेसिक शिक्षा विभाग में शिक्षकों की नियुक्ति में लगातार फर्जीवाड़ा सामने आ रहे है। बेसिक शिक्षा विभाग के फर्जीवाड़े की जांच सरकार एसआईटी व एसटीएफ से करा रही है। इसी जांच के दौरान आईआईटी व एसटीएफ ने वेतन भुगतान के फाइलों की जांच के दौरान एक नया फर्जीवाड़ा पकड़ा। जिसमें एक ही पैन कार्ड पर दो शिक्षकों द्वारा अगल-अलग जनपदों व खाता नंबरों पर वेतन आहरित कोरोना पकड़ा गया। पूरे प्रदेश में ऐसे 192 शिक्षक चिन्हित हुए थे जिसमें 28 शिक्षक जिले के भी शामिल थे। एसआईटी ने बकायदा सूची तैयार कर बेसिक शिक्षा निदेशालय को उपलब्ध कराया और फिर निदेशालय से सूचना जिलों को उपलब्ध करा दी गई। जिले के 28 शिक्षक इस फर्जीवाड़े में चिन्हित हुए थे। जिन्हें बेसिक शिक्षा विभाग ने नोटिस जारी कर सत्यापन के लिए बुलाया था। 28 में से कुल सात शिक्षकों ने अपना सत्यापन नहीं कराया। इन्हें दो बार अलग-अलग तिथियों में नोटिस भेजी गई। अंतिम नोटिस 17 जुलाई को भेजी गई थी। जिसमें सात दिनों के अंदर मूल अभिलेखों के साथ कार्यालय पहुंच कर सत्यापन का निर्देश दिया गया था। इसके बाद भी इन सात शिक्षकों ने सत्यापन नहीं कराया। जिस पर बीएसए ने 27 जुलाई को इन पांच शिक्षकों की नियुक्ति तिथि से सेवा समाप्त करने का आदेश निर्गत करने के साथ ही संबंधित खंड शिक्षाधिकारियों को रिकवरी का आदेश भी जारी कर दिया। शेष बचे दो अन्य शिक्षकों पर मंगलवार को प्रभारी बीएसए ने कार्रवाई किया और दोनों की नियुक्ति तिथि से सेवा समाप्त करते हुए रिकवरी का आदेश निर्देश किया। सेवा समाप्त किए गए शिक्षकों में जय शिव प्रताप चंद हरैया ब्लाक के प्रावि शानूपुर पर तैनात थे और सर्विस बुक में अपना पता सल्लाहपुर देवरिया बताया था। वहीं दूसरे बस्ती शिक्षक अनिल कुमार अतरौलिया ब्लाक के प्रावि सिकरौरा पर तैनात थे।
शिक्षा अधिकारी सहित समस्त खण्ड शिक्षाधिकारी हुए होम क्वारन्टीन। मंझनपुर : दोआबा में कोरोना का संक्रमण रफ्तार पकड़ने लगा है। मंगलवार को चायल विधायक और खंड शिक्षाधिकारी सिराथू समेत 14 लोग कोरोना पॉजिटिव निकले।
सीएमओ डॉ. पीएन चतुर्वेदी ने बताया कि एंटीजन की जांच में आठ लोग संक्रमित मिले हैं। संक्रमितों में चायल क्षेत्र के विधायक समेत तीन सिराथू क्षेत्र के खंड शिक्षा अधिकारी समेत चार व मूरतगंज के एक व्यक्ति समेत आठ लोग शामिल हैं। विधायक व खंड शिक्षा अधिकारी को होम आइसोलेशन की इजाजत दे दी गई है।
खंड शिक्षा अधिकारी की रिपोर्ट पॉजिटिव होने की खबर पर बेसिक शिक्षा अधिकारी समेत जिलेभर के सभी बीईओ ने खुद को होम क्वारंटीन कर लिया है। खंड शिक्षा अधिकारी ने हाल ही में संपर्क में आए लोगों से जल्द से जल्द कोविड जांच कराने के साथ ही होम क्वारंटीन की सलाह दी है।
कोरोना कॉल में ऑनलाइन पढ़ाई कर रहे परिवारों के लिए भारी पड़ रही है सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों और उनके अभाव के सामने सबसे बड़ी मुश्किल आ रही है।
13 जुलाई को किस्त पर खरीदने गए स्मार्टफोन से सेल्फी लेता पूर्व मध्य विद्यालय के बरोही बारिया सातवीं कक्षा का छात्र
आगरा : राज्य अध्यापक और मुख्यमंत्री अध्यापक पुरस्कार के लिए आवेदन करने की मंगलवार को अंतिम तिथि है, लिहाजा आवेदन के इच्छुक शिक्षक चार अगस्त को रात 12 बजे तक ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। बता दें कि इसकी अंतिम तिथि पहले 30 जुलाई तय की गई थी, लेकिन आवेदन बेहद कम रहने पर शासन ने इसे बढ़ा दिया था।
डीआइओएस रवींद्र सिंह ने बताया कि राज्य अध्यापक पुरस्कार एवं मुख्यमंत्री अध्यापक पुरस्कार के लिए जिले के प्रधानाचार्य, प्रधानाध्यापक, शिक्षकों के पास अब भी आखिरी मौका है, वह मंगलवार रात 12 बजे तक सभी प्रपत्रों और औपचारिकताएं पूरी कर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। फिलहाल की बात की जाए, तो जिले में अब तक राज्य अध्यापक पुरस्कार के लिए कुल 30 और मुख्यमंत्री अध्यापक पुरस्कार के लिए कुल 18 शिक्षकों ने आवेदन किए हैं। यह होगी प्रक्रिया अंतिम तिथि पूरी होने के बाद पांच अगस्त को जिला समिति आवेदनों का परीक्षण व स्थलीय सत्यापन कर पात्र अध्यापकों का चयन करेगी और मंडलीय समिति को प्रस्ताव भेजेगी। मंडलीय समिति अध्यापक पुरस्कार के लिए 14 से 20 अगस्त के बीच, जबकि मुख्यमंत्री पुरस्कार के लिए पांच से 17 अगस्त के बीच पात्र अध्यापकों का चयन करेगी और राज्य चयन समिति के सदस्य सचिव व शिक्षा निदेशक को प्रस्ताव उपलब्ध कराएगी। इसके बाद शासन स्तर से उनकी घोषणा की जाएगी।
बेसिक शिक्षा परिषद /अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों के अधीन नेशनल पेंशन स्कीम से आच्छादित शिक्षकों/शिक्षणेत्तर कर्मचारियों के प्रान आवंटन की कार्यवाही किये जाने के सम्बन्ध में।
उपर्युक्त विषयक वित्त नियंत्रक, उ0प्र0 बेसिक शिक्षा परिषद, प्रयागराज द्वारा जनपदों से संकलित कर सूचना प्रेषित की गयी है, का सन्दर्भ ग्रहण करने का कष्ट करें संलग्न सूचना के अवलोकन से स्पष्ट है कि जनपद स्तर पर कुल शिक्षकों एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारियों की संख्या के सापेक्ष प्रान आवंटन एवं प्रान कटौती प्रारम्भ करने की गति अत्यन्त धीमी है।
इस सम्बन्ध में निर्देशित किया जाता है कि नेशनल पेंशन स्कीम से आच्छादित शिक्षकों/शिक्षणेत्तर कर्मचारियों के प्रान आवंटन एवं कटौती प्रारम्भ किये जाने संबंधी कार्य में गति प्रदान करते हुए कार्यवाही पूर्ण कराना सुनिश्चित करें।
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