बुलंदशहर:- ऑफलाइन अवकाश स्वीकृत किए जाने पर संबंधित शिक्षक/कर्मचारी/अनुदेशक पर दर्ज की जाएगी FIR
Category: Basic shiksha parishad,
ब्रेकिंग न्यूज़:- महंगाई भत्ता नवीन दरों से जुलाई 2021 में प्रभावी होगा, Ministry of state in the ministry of द्वारा दिया गया जवाब
बेसिक शिक्षा विभाग:- 6 से 8 तक की नहीं होगी परीक्षाएं
परिषदीय बच्चों को यूनिफार्म-स्वेटर, स्कूल बैग की रकम अब सीधे खातों में, कैबिनेट से मंजूरी दिलाने की तैयारी
फतेहपुर:- बेसिक शिक्षा विभाग में कार्यरत शिक्षकों के अवशेष वेतन भुगतान का रहस्य अब जिलाधिकारी महोदया के जिम्मे, जाने आखिर क्या है इसकी वजह
आपको बता दें कि आज से 3 साल पहले नियुक्त बेसिक शिक्षक 12460 भर्ती एवं 41556 भर्ती में नियुक्त शिक्षकों का अवशेष वेतन भुगतान आज तक नहीं हो पाया जिसके पीछे की वजह भौतिक सत्यापन बताया जा रहा
सत्यापन ना हो पाने का कारण
ज्यादातर शिक्षकों के बीटीसी और यूपीटीईटी तथा सीटेट के मार्कशीट के सत्यापन अभी तक नहीं हो पाए हैं परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय पर शिक्षकों द्वारा स्वयं जाकर कार्यवाही करने पर पता चला कि वहां जिला बेसिक शिक्षा कार्यालय द्वारा एक साथ एक लिस्ट में ही 700-800 अध्यापकों के नाम भेजे गए हैं जिसको PNP बाबू ने असमर्थता व्यक्त की है तथा कार्यालय को भी अवगत कराया है यह भी बात पता चली कि इतनी अधिक संख्या में सत्यापन का कार्य भौतिक रूप से नहीं किया जा सकता इसलिए वहां के डायरेक्टर ने ऑनलाइन सत्यापन को ही मान्य घोषित कर दिया तथा इसके दो बार आदेश भी जारी किए जा चुके हैं जो कि नीचे दिखाया जा रहा एवं बीएसए कार्यालय द्वारा जब इस बात को राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ द्वारा रखा गया तो उन्होंने रिमाइंडर की लिस्ट दिखा दी सत्यापन ना होने का मुख्य कारण दोनों विभागों का आपस में तालमेल ना हो पाना है या तो जिला बेसिक शिक्षा कार्यालय 20 से 30 लोगों की लिस्ट बनाकर परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय भेजें अथवा ऑनलाइन सत्यापन को सहमति प्रदान करें
ऑनलाइन सत्यापन आदेश
और यदि इसी तरह दोनों विभागों के बीच मतभेद बना रहा तो सत्यापन की स्थिति आज से 2 साल बाद भी यही रहेगी अर्थात एक गहरा रहस्य
सुखद स्थिति यह है कि अब प्राथमिक शिक्षक संघ की पांच ब्लॉक इकाईया भी सो कर जाग गई है जिनके द्वारा विभिन्न शिक्षक भर्तियों के अधीन सेवा में आए शिक्षकों के अवशेष वेतन भुगतान व सत्यापन को लेकर विभाग को दी गई डेडलाइन कल समाप्त हो रही है। ऐसे में शिक्षकों की निगाहें संघ व विभाग की ओर लगी हुई हैं। उधर मामले का संज्ञान लेते हुए डीएम ने बीएसए को जरूरी कदम उठाने क निर्देश दिए हैं। उधर मुख्यालय बीईओ ने शनिवार को पटल प्रभारी को एक पखवारे का समय देते हुए कार्यों को पूर्ण कराने के निर्देश जारी किए हैं। आपको बता दें कि जिले के शिक्षक संघ में राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ पहले से ही एयर भुगतान की समस्या हेतु जिला बेसिक शिक्षा कार्यालय में अपना विरोध दर्ज करा चुका है
मुख्यालय बीईओ ने पटल प्रभारी से कहा कि संघ व बीएसए के मध्य हुई वार्ता को देखते हुए 15 दिनों के भीतर कार्य को शीर्ष प्राथमिकता देते हुए पूरा कराया जाए। 12460, 15000, 16448 व 68500 शिक्षक भर्तियों के अधीन नवनियुक्त शिक्षकों के साथ अन्तर्जनपदीय शिक्षकों के अवशेष वेतन एवं सत्यापन के मामले को तूल पकड़ता देख बेसिक शिक्षा विभाग सक्रिय हुआ है। सत्यापन की स्पष्ट सूची एवं अवशेष वेतन भुगतान की मांग को पूरा करने के लिए असोथर, भिटौरा, खजुहा, हसवा एवं बहुआ ब्लॉक इकाईयों के अध्यक्षों द्वारा बीएसए को ज्ञापन देने के बाद दूसरे कई ब्लॉक अध्यक्षों ने समर्थन देने का ऐलान किया था।
सिद्धार्थनगर:- शिक्षकों से पैसा लेने के आरोप में BEO हुए निलंबित
केंद्र सरकार ने की महंगाई भत्ता (डीए) देने की तैयारी, अब 18 माह का ‘एरियर’ लेने पर अड़े कर्मचारी संगठन
केंद्र सरकार ने की महंगाई भत्ता (डीए) देने की तैयारी, अब 18 माह का ‘एरियर’ लेने पर अड़े कर्मचारी संगठन
केंद्रीय कर्मियों की मांग को लेकर केंद्र से बातचीत कर रहे जेसीएम ‘स्टाफ साइड’ की राष्ट्रीय परिषद के सचिव और एआईआरएफ के महामंत्री शिव गोपाल मिश्र का कहना है, डीए की राशि जारी करने के लिए सरकार तैयार हो गई है। कर्मचारी संगठन अब ‘एरियर’ लेने पर अड़े हैं। केंद्र सरकार और कर्मचारी संगठनों के बीच दो सप्ताह के भीतर एक उच्चस्तरीय बैठक होने जा रही है। यहीं से केंद्र सरकार के कर्मियों और पेंशनरों को उनके चेहरे खिलाने वाली खबर मिलेगी।
ग्राम पंचायत सचिव ने बेसिक शिक्षिका को पहले भेजे अश्लील मैसेज, फिर स्कूल आकर बोला आई लव यू
ग्राम पंचायत सचिव ने बेसिक शिक्षिका को पहले भेजे अश्लील मैसेज, फिर स्कूल आकर बोला आई लव यू
बरेली : उत्तर प्रदेश के बरेली में शिक्षिका ने ग्राम पंचायत सचिव पर अश्लील मैसेज करने और स्कूल में आकर आईलव यू बोलने का आरोप लगाया। विरोध करने पर उसको स्कूल से निलंबित करा देने की धमकी दी। शिक्षिका ने जहानाबाद थाने में तहरीर देकर कार्रवाई की मांग की है। पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर आरोपी को हिरासत में ले लिया गया है।
थाना जहानाबाद क्षेत्र के एक गांव के प्राइमरी स्कूल की निवासी शिक्षिका ने जहानाबाद पुलिस को शिकायती पत्र दिया। जिसमे कहा गया कि उसके विद्यालय में एक ग्राम पंचायत सचिव का काफी आना जाना रहता है। यह सचिव ऑपरेशन कायाकल्य के के कार्य के कारण उसके स्कूल में अक्सर आता है। इसी बीच सचिव ने किसी से उसका मोबाइल नंबर ले लिया। सचिव ने उसके मोबाइल पर अश्लील और भद्दे मैसेज करना शुरू कर दिए। उसको स्कूल आकर भी सचिव ने एक दिन आई लव यू बोल दिया। जब उसने इसका विरोध किया तो सचिव ने शादी करने का प्रस्ताव रख दिया। बात न मानने पर उसको स्कूल से निकलवा देने और निलंबित करा देने की धमकी दी।
26 फरवरी को कमल किशोर ने उससे विद्यालय की चाबी मांगकर ऑपरेशन कायाकल्प का काम करने की इच्छा जताई। चूंकि वह ललौरीखेड़ा बीआरसी पर ट्रेनिंग में उपस्थित थी। इसीलिए उसने चाबी दे दी। इसके बाद सचिव ने रसोईया से मिलकर स्कूल की किताबें जलाना शुरू कर दी। पुलिस ने तहरीर मिलने पर आरोपी के खिलाफ छेड़छाड़ का मुकदमा दर्ज कर लिया है। इंस्पेक्टर जहानाबाद हरीशवर्धन सिंह ने बताया कि एफआईआर दर्ज कर ग्राम पंचायत सचिव को हिरासत में ले लिया गया है। चालान कर जेल भेजा जाएगा।
स्कूल टीचर बनने के लिए जरूरी होगा TET एग्जाम, NCTE ने लिया फैसला
नई शिक्षा नीति-2020 में शिक्षा व्यवस्था में व्यवस्था की गई है कि आने वाले कुछ सालों में शिक्षा की सबसे मजबूत कड़ी अध्यापक को सबसे मजबूत बनाया जाएगा. इसके लिए बीएड प्रोग्राम में बड़े बदलाव की बात कही गई है. इसके लिए शिक्षा नीति में वर्ष 2022 तक नेशनल काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन (एनसीटीई) को टीचर्स के लिए एक समान मानक तैयार करने को कहा गया था.
अब NEP 2020 के तहत नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (NCTE) ने यह फैसला किया है कि किसी भी क्लास में पढ़ाने के लिए उम्मीदवारों को शिक्षक पात्रता परीक्षा TET यानी Teachers Eligibility Test पास करना जरूरी किया जाएगा. एनसीटीई ने इसके लिए दिशानिर्देश व टेस्ट पैटर्न तैयार करने के लिए कमिटी गठित कर दी है.
एनईपी में प्रावधान किया गया है कि ये पैरामीटर नेशनल प्रोफेशनल स्टैंडर्ड फॉर टीचर्स कहलाएंगे. काउंसिल यह कार्य जनरल एजुकेशन काउंसिल के निर्देशन में पूरा करेगी. अब तक टीईटी की अनिवार्यता सिर्फ क्लास 1 से 8वीं तक के लिए थी. 9वीं से 12वीं यानी पोस्ट ग्रेजुएट टीचर्स (PGT) के लिए इसकी जरूरत नहीं होती थी. अब किसी भी क्लास में पढ़ाने के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा (TET) पास करना जरूरी किया जाएगा.
एनसीटीई ने इसके लिए दिशानिर्देश व टेस्ट पैटर्न तैयार करने के लिए कमेटी गठित कर दी है. स्कूलों में क्वालिटी एजुकेशन को बढ़ावा देने के लिए और शिक्षकों को अपग्रेड करने के लिए एनसीटीई यह तैयारी कर रहा है. नई शिक्षा नीति के अनुसार शिक्षकों के लिए अगले दो साल के भीतर न्यूनतम डिग्री बीएड तय होगी, जो उनकी शैक्षणिक योग्यता के आधार पर एक से चार साल की होगी. ये एमए के बाद एक साल और इंटरमीडिएट के बाद चार साल की होगी.
बीएड के लिए कुछ इस तरह से व्यवस्था की जाएगी कि बीएड की दो साल की डिग्री उन ग्रेजुएट छात्रों को मिले जिन्होंने किसी खास सब्जेक्ट में चार साल की पढ़ाई की हो. चार साल की ग्रेजुएट की पढ़ाई के साथ एमए की भी डिग्री प्राप्त करने वाले छात्रों को बीएड की डिग्री एक साल में ही प्राप्त हो जाएगी, लेकिन इसके जरिये विषय विशेष के शिक्षक बन पाएंगे.
बता दें कि नई शिक्षा नीति में ये कहा गया है कि बीएड प्रोग्राम में शिक्षा शास्त्र की सभी विधियों को शामिल किया जाए. इसमें साक्षरता, संख्यात्मक ज्ञान, बहुस्तरीय अध्यापन और मूल्यांकन को विशेष रूप से सिखाया जाएगा. इसके अलावा टीचिंग मेथड में टेक्नोलॉजी को खास तौर पर जोड़ा जाएगा.
कमेटी की उन सिफारिशों को भी मान लिया गया है जिसमें स्तरहीन शिक्षक-शिक्षण संस्थानों को बंद करने की बात कही गई थी. अब सभी शिक्षण तैयारी/ शिक्षा कार्यक्रमों को बड़े बहुविषयक विश्वविद्यालयों/ कॉलेजों में स्थानांतरित करके शिक्षक शिक्षण के क्षेत्र में बड़े पैमाने पर बदलाव का भी प्रस्ताव रखा है. इसके अलावा 4-वर्षीय एकीकृत चरण वाले विशिष्ट बी.एड. कार्यक्रम के माध्यम से शिक्षकों को अंततः न्यूनतम डिग्री की योग्यता प्राप्त हो सकेगी.